समझाई जा रही हैं ईवीएम से मतदान कराने की प्रक्रिया और अन्य बारीकियां
जिले में विधानसभा आम चुनाव के लिए सभी तैयारियाँ समयबद्ध कार्यक्रम के तहत की जा रहीं हैं । इसी क्रम में मतदान दलों को प्रारंभिक प्रशिक्षण दिया जा रहा है। यहाँ भारतीय पर्यटन एवं यात्रा प्रबंधन संस्थान में आयोजित हो रहे इस सात दिवसीय प्रशिक्षण में मास्टर ट्रेनर द्वारा मतदान संबंधी सम्पूर्ण बारीकियां विस्तारपूर्वक बताई जा रही हैं। गुरूवार को तीन पालियों में मतदान दलों को प्रशिक्षित किया गया। प्रारंभिक प्रशिक्षण 26 सितम्बर तक जारी रहेगा।
कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी अक्षय कुमार सिंह ने प्रशिक्षण ले रहे सभी अधिकारियों से कहा है कि मतदान से संबंधित सभी पहलुओं को भलीभाँति समझ लें, जिससे मतदान संपादित कराने में कोई दिक्कत न आए।
प्रारंभिक प्रशिक्षण में मतदान अधिकारियों को खास तौर पर ई.व्ही.एम (इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन) अर्थात बैलेट यूनिट व कंट्रोल यूनिट के बारे में तकनीकी एवं व्यवहारिक प्रशिक्षण विस्तार से दिया जा रहा है। साथ ही भारत निर्वाचन आयोग द्वारा नियमों में किए गए बदलाव की जानकारी भी मतदान दलों को दी जा रही है।
पीठासीन अधिकारी को मतदान केन्द्र की स्थापना, मतदान शुरू होने से पूर्व की जाने वाली घोषणा, एजेन्टो की मौजूदगी में मोकपोल, ग्रीन पेपर सील लगाना, स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव के लिए रक्षोपाय, मतदान केन्द्र में और बाहरी 200 मीटर की परिधि में प्रतिबंधात्मक आदेशों के पालन आदि का प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है ।
पीठासीन अधिकारियों को समझाइश दी जा रही है कि निर्वाचन सामग्री प्राप्त करते समय यह सुनिश्चित कर लें कि सूची के अनुसार सभी सामग्री उन्हें मिल गई है। मुख्य रूप से मतदान यूनिट, नियंत्रण यूनिट, वीवीपैट, निविदत्त मतपत्र, मतदाताओं का रजिस्टर, निर्वाचक नामावली की चिन्हित प्रति और नामावली की अतिरिक्त प्रतियाँ, ग्रीन पेपर सील, सीलिंग वैक्स एवं अमिट स्याही महत्वपूर्ण सामग्री में शामिल है।
80 वर्ष से अधिक आयु वर्ग के बुजुर्गों और दिव्यांगों को घर पर ही मतदान की सुविधा
प्रशिक्षण के दौरान मतदान दलों को यह भी जानकारी दी गई कि इस बार 80 साल से अधिक आयु वर्ग और दिव्यांग मतदाताओं को घर पर ही मतदान की सुविधा उपलब्ध कराई जायेगी। मतदान दल इनके घर पहुँचकर विधिवत मतदान प्रकिया सम्पन्न करायेंगे।
राज्य स्तरीय मास्टर ट्रेनर श्याम बिहारी ओझा ने प्रशिक्षण के दौरान बताया कि इस बार ईवीएम की सीलिंग से संबंधित पेपर स्लिप में बदलाव किया गया है। साथ ही मतदान के दौरान जरूरत पड़ने पर कंट्रोल यूनिट (सीलिंग) की बैटरी बदली जा सकेगी। इस बार के विधानसभा चुनाव में मतदान शुरू होने के समय से 90 मिनट पहले मॉकपोल होगा और यदि प्रत्याशियों के एजेंट नहीं आ पाते हैं तो 15 मिनट इंतजार किया जायेगा। ज्ञात हो पिछले विधानसभा चुनाव में 60 मिनट पहले मॉकपोल करने का प्रावधान था। इस बार के विधानसभा चुनाव में ग्राम पंचायत सरपंच, पंचायत सदस्य, नगर पालिका और नगर निगम के पार्षदगण भी प्रत्याशियों के मतदान अभिकर्ता बन सकेंगे। मतदान एजेंटों को अपरान्ह 3 बजे के बाद भी मतदान केन्द्रों के बाहर जाने एवं पुन: अंदर आने की अनुमति दी जा सकेगी।
"जन-जन की है यही पुकार वोट डालो अबकी बार''