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- भारतीय मजूदर की मौत पर......इटली की पीएम हुईं भावुक, खाई कसम
- Tuesday, Jul 02, 2024
by NewsDesk - 30 Jun 24 | 58
नई दिल्ली । 18वीं लोकसभा का गठन हो चुका है। इस बार जहां संसद में सत्ता पक्ष पहले से कुछ कमजोर हुआ है, वहीं विपक्ष मजबूत हुआ है। अब इसका असर लोकसभा सत्र के दौरान दिख रहा है। हालांकि मोदी सरकार के साथ-साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी विपक्ष पर हमलावर हैं। लेकिन विपक्ष भी नीट पेपर लीक पर मोदी सरकार की घेराबंदी में जुटा है। पीएम मोदी के आपातकाल के जिक्र के बाद फिर राजनीतिक भूचाल आ गया है। इस बीच कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने लेख लिखकर मोदी सरकार पर जमकर सवाल उठाया है।
कांग्रेस नेता सोनिया गांधी ने लेख में कहा कि ‘2024 के चुनाव में पीएम की व्यक्तिगत, राजनीतिक और नैतिक हार हुई है। पीएम मोदी सहमति की बात करते हैं लेकिन टकराव का रास्ता अख्तियार करते हैं।
सोनिया गांधी ने लिखा है मोदी सरकार की ओर से जब विपक्ष से स्पीकर चुनाव में समर्थन की मांग की गई, तब परंपरा के मुताबिक उपाध्यक्ष का पद विपक्ष को मिलना चाहिए, लेकिन सरकार ने हमारी मांग नहीं मानी। बल्कि पीएम मोदी ने इमरजेंसी का जिक्र कर आश्चर्यजनक रूप से स्पीकर ने भी ध्यान भटकने के लिए वही किया।
सोनिया ने अपने लेख में लिखा नीट घोटाले पर, जिसने हमारे लाखों युवाओं के जीवन पर कहर बरपाया है, केंद्रीय शिक्षा मंत्री की तत्काल प्रतिक्रिया यह थी कि जो कुछ हुआ है, उसकी गंभीरता को नकार दिया जाए। पीएम मोदी जो अपनी ‘परीक्षा पे चर्चा’ करते हैं, वे देश भर में इतने सारे परिवारों को तबाह करने वाली लीक पर स्पष्ट रूप से चुप हैं। उन्होंने लिखा इस बीच, भारत के अल्पसंख्यकों के खिलाफ हिंसा और धमकी का अभियान एक बार फिर तेज हो गया है। सोनिया गांधी ने लेख में लिखा मणिपुर जलता रहा लेकिन प्रधानमंत्री वहां जाने का समय नहीं निकाल सके। प्रधानमंत्री के 400 पार के नारे को जनता ने रिजेक्ट किया इस पर उन्हें आत्म विश्लेषण करना चाहिए।
by NewsDesk | 02 Jul 24
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